Reliance Infrastructure News: रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर के शेयर कल बुधवार को कारोबार के दौरान फोकस में रहे। कंपनी के शेयर आज 5% चढ़कर 341.45 रुपये पर पहुंच गए।
Reliance Infrastructure News: रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर के शेयर कल बुधवार को कारोबार के दौरान फोकस में रहे। कंपनी के शेयर आज 5% चढ़कर 341.45 रुपये पर पहुंच गए। इधर, मुंबई महानगर क्षेत्र विकास प्राधिकरण (एमएमआरडीए) ने अनिल अंबानी की कंपनी रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर (आरइंफ्रा) की सहायक कंपनी मुंबई मेट्रो वन प्राइवेट लिमिटेड (एमएमओपीएल) से जुड़े एक मध्यस्थता मामले में बॉम्बे हाई कोर्ट की रजिस्ट्री में 560.21 करोड़ रुपये जमा कर दिए हैं।
क्या है मामला
जून में बॉम्बे हाईकोर्ट ने एमएमआरडीए को मुंबई मेट्रो वन प्राइवेट लिमिटेड को 1,169 करोड़ रुपये का मध्यस्थता पुरस्कार देने और 15 जुलाई 2025 से पहले रजिस्ट्री में जमा करने का निर्देश दिया था। हालांकि, एमएमआरडीए ने इस आदेश को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट में एक स्पेशल अनुमति याचिका दायर की। इसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने एमएमआरडीए को पुरस्कार राशि का 50 प्रतिशत जमा करने का निर्देश दिया। मुंबई मेट्रो वन प्राइवेट लिमिटेड ने कहा था कि इस राशि का इस्तेमाल वह अपना कर्ज कम करने में करेगी। बता दें कि यह मामला अगस्त 2023 का है। जब एमएमओपीएल ने परियोजना की लागत सहित विभिन्न विवादों के लिए एमएमओपीएल और एमएमआरडीए के बीच हुए मध्यस्थता मामले में तीन सदस्यीय मध्यस्थता न्यायाधिकरण द्वारा पारित 992 करोड़ रुपये का मध्यस्थता पुरस्कार जीता था। एमएमआरडीए की वेबसाइट के आंकड़ों के अनुसार, परियोजना की शुरुआती अनुमानित लागत 2,356 करोड़ रुपये थी। बाद में यह लागत बढ़कर 4,321 करोड़ रुपये हो गई।
डिटेल में जानिए
एमएमओपीएल, आर-इंफ्रा और एमएमआरडीए का एक संयुक्त उद्यम है, जिसमें आरइंफ्रा की 74 प्रतिशत हिस्सेदारी है और शेष एमएमआरडीए के पास है। एमएमओपीएल, वर्सोवा-अंधेरी-घाटकोपर कॉरिडोर के बीच मुंबई की पहली मेट्रो लाइन का संचालन करता है। इस मास रैपिड ट्रांजिट सिस्टम परियोजना का ठेका एमएमआरडीए ने 2007 में सार्वजनिक-निजी भागीदारी (पीपीपी) के आधार पर वैश्विक प्रतिस्पर्धी बोली के जरिए से रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर के नेतृत्व वाले एक कंसोर्टियम को दिया था। परियोजना के कार्यान्वयन के लिए एक स्पेशल प्रयोजन कंपनी, एमएमओपीएल का गठन किया गया था। एमएमआरडीए, मुंबई महानगर क्षेत्र में विकास की योजना बनाने और समन्वय के लिए एक सर्वोच्च निकाय है। यह भारत में पीपीपी आधार पर दी गई पहली मेट्रो परियोजना थी और इसमें मार्ग में 12 स्टेशनों के साथ लगभग 12 किलोमीटर एलिवेटेड मेट्रो का डिजाइन, फाइनेंस, निर्माण, संचालन और रखरखाव शामिल था।