PM Modi in Male: प्रधानमंत्री मोदी ने माले में कहा कि भारत मालदीव के साथ मजबूत रिश्तों को बनाने के लिए उत्सुक है। उन्होंने कहा कि हम मालदीव की क्षमता निर्माण को बढ़ाने के लिए भी पूरी तरह से प्रतिबद्ध हैं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने माले में मालदीव और भारत के रिश्तों को और भी ज्यादा मजबूत करने पर जोर दिया। मालदीव के उपराष्ट्रपति हुसैन मोहम्मद लतीफ सहित देश के प्रमुख नेताओं से मुलाकात के दौरान उन्होंने कहा कि भारत, मालदीव के साथ अपनी साझेदारी को और भी ज्यादा गहरा करने के लिए उत्सुक है। राष्ट्रपति मुइज्जू से चर्चा के बाद पीएम मोदी ने मालदीव की क्षमता निर्माण में भी बड़े स्तर पर मदद करने की घोषणा की थी। इसके तहत मालदीव को 4,850 करोड़ रुपए की ऋण सुविधा देने की बात कही।
पीएम मोदी ने सोशल मीडिया साइट एक्स पर लिखा, “हमारे देश बुनियादी ढांचे, टेक्नोलॉजी, जलवायु परिवर्तन, ऊर्जा आदि जैसे क्षेत्रों में मिलकर काम कर रहे हैं। यह दोनों देशों के लोगों के लिए अत्यंत लाभकारी है। हम आगामी वर्षों में इस साझेदारी को और भी ज्यादा गहरा करने के लिए उत्सुक हैं।”
प्रधानमंत्री मोदी ने पीपुल्स मजलिस (मालदीव की संसद) के अध्यक्ष अब्दुल रहीम अब्दुल्ला से भी मुलाकात की। इस मुलाकात के बाद पीएम ने कहा, “हम दोनों ने हमारी संसदों के बीच घनिष्ठ संबंधों समेत भारत-मालदीव की गहरी मित्रता पर चर्चा की।” इसके साथ ही पीएम मोदी ने भारत-मालदीव संसदीय मैत्री समूह के गठन का भी स्वागत किया।
प्रधानमंत्री ने मालदीव के पूर्व राष्ट्रपति मोहम्मद नशीद से भी मुलाकात की। इस मुलाकात के बाद उन्होंने कहा, “वह (नशीद) भारत एवं मालदीव की गहरी मित्रता के हमेशा से प्रबल समर्थक रहे हैं। उनसे इस बारे में बात की कि मालदीव हमारी ‘पड़ोसी प्रथम’ नीति और महासागर दृष्टिकोण का कैसे हमेशा एक महत्वपूर्ण स्तंभ रहेगा।’’
गौरतलब है कि प्रधानमंत्री मोदी अपनी दो दिवसीय मालदीव यात्रा पर हैं। वहां पर वह मालदीव के स्वतंत्रता दिवस समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए हैं।
इससे पहले मालदीव और भारत के संबंधों पर बात करते हुए दोनं देशों के संबंधों को कूटनीति से परे बताया। भारत और मालदीव के बीच 60 वर्षों के राजनयिक संबंधों पर प्रकाश डालते हुए मुइज्जू ने इन्हें सदियों पुराना बताया। उन्होंने कहा कि मालदीव सरकार एक समावेशी और गतिशील अर्थव्यवस्था के निर्माण, युवाओं को सशक्त बनाने और क्षेत्र में शांति एवं सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है। राष्ट्रपति मुइज्जू ने स्वीकार किया कि इन महत्वाकांक्षाओं को साकार करने में भारत की साझेदारी महत्वपूर्ण है।