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चीन के दोस्त कंबोडिया को मसल डालेगा थाईलैंड! जमा कर रखा हथियारों का खजाना

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थाईलैंड और कंबोडिया में कौन है ताकतवर?

Thailand Vs Cambodia: थाईलैंड और कंबोडिया ने एक नई जंग की शुरुआत कर दी है. गुरुवार को पहले कंबोडिया ने सीमा पर स्थित शिव मंदिर के पास थाईलैंड के सैन्य ठिकानों पर हमला किया तो वहीं कुछ घंटे बाद थाईलैंड ने 6 एफ-16 से ताबड़तोड़ जवाबी अटैक किया. दोनों देशों के बीच 2008 से 2011 के बीच जंग हो चुकी है. थाईलैंड को अमेरिका का करीबी तो कंबोडिया को चीन का करीबी माना जाता है. थाईलैंड के पास अमेरिका और यूरोपीय देशों का अत्याधुनिक हथियार हैं.

हथियार के मामले में चीन का मित्र कंबोडिया थाईलैंड से काफी पीछे है. हालांकि, चीन के पड़ोस में होने का फायदा जंग में उसे मिल सकता है, लेकिन चीन ने अब तक खुलकर किसी भी देश का साथ नहीं दिया है.

चीन दोनों देशों से इस मामले में सुलह की अपील कर रहा है. चीन नहीं चाहता है कि ऐसी नौबत आए, जब उसे किसी एक का पक्ष लेने पर मजबूर होना पड़े. थाईलैंड भले ही अधिकांश हथियार अमेरिका से खरीदता हो, लेकिन चीन उससे सीधी दुश्मनी तब भी मोल नहीं लेता है.

थाईलैंड या कंबोडिया, कौन ताकतवर?

किसी देश की शक्ति 3 पैमाने पर मापी जाती है. पहला उसकी संख्या कितनी है. दूसरा उसके पास हथियार किस तरह के हैं और तीसरा देश आर्थिक तौर पर कितना ताकतवर है? थाईलैंड कंबोडिया से तीनों ही मामले में काफी आगे है.

थाईलैंड की जनसंख्या 7.1 करोड़ है. यह आंकड़ा 2023 का है. वहीं कंबोडिया की आबादी सिर्फ 2 करोड़ के आसपास है. थाईलैंड के पास सैनिकों की संख्या भी कंबोडिया से काफी ज्यादा है.

Thailand Conflict

ग्लोबल फायर पावर के मुताबिक थाईलैंड के पास 3.6 लाख सक्रिय सैनिक हैं. कंबोडिया के पास 2.2 लाख सैनिक हैं. थाईलैंड के पास रिजर्व के रूप में 2 लाख सैनिक भी हैं, लेकिन कंबोडिया के पास ऐसा कुछ नहीं है.

थाईलैंड का रक्षा बजट 5 अरब डॉलर का है, जबकि कंबोडिया का रक्षा बजट 1 अरब डॉलर से भी कम है. कंबोडिया का रक्षा बजट 84 करोड़ डॉलर है. क्रय शक्ति के मामले में भी कंबोडिया से थाईलैंड काफी आगे है.

थाईलैंड के पास हथियारों का जखीरा है

पर्यटन के लिए मशहूर थाईलैंड के पास हथियारों का जखीरा है. थाईलैंड के पास 72 लड़ाकू विमान है, जिनमें से अधिकांश अमेरिकी एफ सीरिज के लड़ाकू विमान हैं. थाईलैंड ने कंबोडिया को मारने के लिए एफ-16 का पहले इस्तेमाल किया है.

थाईलैंड के पास 258 सामान्य हेलिकॉप्टर हैं. कंबोडिया के पास इसकी संख्या सिर्फ 21 है. इसी तरह थाईलैंड के पास 7 अटैक हेलिकॉप्टर भी है, जो कंबोडिया के पास नहीं है. कंबोडिया के पास 644 टैंक है तो वहीं थाईलैंड के पास 635 टैंक है.

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ग्लोबल फायर पावर के मुताबिक थाईलैंड के पास 16 हजार से ज्यादा बख्तरबंद वाहन है. कंबोडिया इस मामले में काफी पीछे है. स्वचलित तोपखाना की बात की जाए तो थाईलैंड के पास इसकी संख्या 50 और कंबोडिया के पास 30 है.

थाईलैंड के पास इजराइल का रॉकेट लॉन्चर भी है. इजराइल ने शक्तिशाली ड्रोन भी थाईलैंड को दे रखा है, जो किसी भी देश में आतंक मचाने के लिए काफी है.

थाईलैंड और कंबोडिया जंग क्यों लड़ रहा है?

थाईलैंड और कंबोडिया के बीच जंग की नई शुरुआत साल 2008 में हुई थी. दोनों की सीमा पर एक 9वीं सदी का शिव मंदिर है. इसे कंबोडिया ने अपने नाम से यूनेस्को की सूची में शामिल करा लिया, जिसे थाईलैंड ने गलत बताया.

कहा जाता है कि इस शिव मंदिर की स्थापना खमेर सम्राट सूर्यवर्मन ने किया था. थाईलैंड का कहना है कि यह मंदिर उसके हिस्से में है, जिसे कंबोडिया अपने नाम से कराना चाहता है. दोनों के जंग में पिछले 17 साल में 42 लोग मारे जा चुके हैं.

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