पीएम मोदी और मोहम्मद यूनुस.
एशिया में मजबूत गठजोड़ को लेकर चीन और पाकिस्तान के मंसूबों पर बांग्लादेश ने पानी फेर दिया है. पिछले दिनों बांग्लादेश, चीन और पाकिस्तान के सचिल स्तर के अधिकारियों ने बीजिंग में एक बैठक की थी. इसके बाद कहा जा रहा था कि भारत के विरोध में ये तीनों देश एक साथ आ गए हैं. हालांकि, अब बांग्लादेश ने इसे सिरे से खारिज किया है.
बांग्लादेश के विदेश सलाहकार तौहीद हुसैन के मुताबिक हमारे साथ कोई भी गठबंधन नहीं बनने जा रहा है. बांग्लादेश किसी भी गठबंधन में शामिल नहीं है. हम किसी एक देश के खिलाफ नहीं है.
राजनीतिक मीटिंग नहीं थी- तौहिद
द डेली स्टार के मुताबिक तौहिद ने कहा कि तीनों सचिवों के बीच जो बैठक हुई थी, वो एक आधिकारिक बैठक थी. राजनीतिक बैठक नहीं थी. इसलिए गठबंधन की बात तो कहीं से भी ठीक नहीं है. बांग्लादेश किसी एक देश के खिलाफ काम नहीं करता है.
तौहिद ने कहा कि बैठक में उर्जा, इन्फ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट पर बात हुई. इस तरह की बात से कोई मोर्चा नहीं बनता है. यह सब मीडिया की सिर्फ खबरें हैं.
भारत का भी स्वागत करेंगे- तौहिद
तौहिद ने कहा कि अगर भारत बांग्लादेश और नेपाल के साथ अगर मिलकर कोई बैठक करना चाहता है तो हम स्वागत करेंगे. हम इसके लिए ढाका की धरती भी मुहैया कराएंगे. हमारी कोशिश है कि पड़ोस से रिश्ते बेहतरीन रहे.
तौहिद के मुताबिक बांग्लादेश का विजन बड़ा है और हम सिर्फ काम पर फोकस कर रहे हैं. हम अपने विदेश नीति को ठीक ढंग से संचालित करने की कोशिश कर रहे हैं.
भारत से रिश्ते को लेकर भी दिया बयान
विदेश सलाहकार ने एक सवाल के जवाब में कहा कि हम रिश्ते सुधारने की कवायद में जुटे हैं. रिश्तों में गर्माहट नहीं है तो यह ठंडा भी नहीं पड़ा है. हमारे पास सद्भाव की कमी नहीं है. हमारे लोग लगातार लगे हुए हैं. तौहिद के मुताबिक जल्द ही सबकुछ पटरी पर आ जाएंगे.
अगस्त 2024 में शेख हसीना के तख्तापलट के बाद से ही बांग्लादेश और भारत के रिश्तों में तल्खी आ गई. बांग्लादेश की यूनुस सरकार शेख हसीना को लेकर भारत के खिलाफ अग्रेसिव है. वहीं भारत भी बांग्लादेश को तवज्जो देने के मूड में नहीं है.