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दुनिया ने मानी भारत की ताकत, पासपोर्ट हो गया और मजबूत… टॉप पर है ये देश…

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भारत की दुनिया में छवि लगातार बेहतर होती जा रही है. हाल ही में हेनले पासपोर्ट इंडेक्स ने अपनी 2025 की रिपोर्ट जारी की है. जिसमें दुनिया के शक्तिशाली पासपोर्ट लिस्ट में भारत की रैंकिंग में सुधार हुआ है. हालांकि भारत को इसमें अभी और सुधार की आवश्यकता है. हेनले पासपोर्ट इंडेक्स की इस रिपोर्ट में सिंगापुर का पासपोर्ट दुनिया का सबसे शक्तिशाली माना गया है, जिसके जरिए सिंगापुर के नागरिक 193 देशों की वीज़ा-मुक्त या वीज़ा-ऑन-अराइवल यात्रा कर सकते हैं.

वहीं इसमें भारत 8 पायदान चढ़कर 77 वें स्थान पर पहुंच गया है, भारतीय पासपोर्ट के साथ 59 गंतव्यों पर वीजा-मुक्त पहुंच उपलब्ध है. अंतरराष्ट्रीय वायु परिवहन संघ (IATA) के विशिष्ट आंकड़ों पर आधारित इस रैंकिंग में सिंगापुर को अमेरिका और ब्रिटेन जैसे वैश्विक दिग्गजों से भी आगे रखा गया है. हालांकि, इस साल कुछ छोटे बदलाव हुए हैं, जैसे पाकिस्तान और मॉरिटानिया ने ई-वीजा प्रणाली अपनाई है, जिससे सिंगापुर की वीज़ा-ऑन-अराइवल देशों की पिछली सूची थोड़ी छोटी हो गई है.

भारत आगे बढ़ा, अमेरिका खिसका नीची

इस साल भारत ने दुनिया की पासपोर्ट रैंकिंग में उल्लेखनीय सुधार किया है, जिसमें वह आठ पायदान ऊपर चढ़कर 77वें नंबर पर आ गया है. सऊदी अरब भी आगे बढ़ा है, उसकी सूची में चार नए स्थान जुड़ गए हैं और वह 54वें स्थान पर पहुंच गया है. इस बीच अमेरिका और ब्रिटेन जैसे पर्यटन दिग्गज नीचे खिसक गए हैं. ब्रिटेन अब 186 स्थानों तक पहुंच के साथ छठे स्थान पर है, जबकि अमेरिका 182 गंतव्यों के साथ 10वें स्थान पर है, जो हेनले पासपोर्ट इंडेक्स शुरू होने के बाद से उसका सबसे निचला स्थान है.

सबसे नीचे रहा अफगानिस्तान

इस सूची में अफगानिस्तान के पासपोर्ट को सबसे नीचे रखा गया है. उसके नागरिकों को सिर्फ 25 देशों में वीज़ा-मुक्त प्रवेश की इजाजत है. वहीं एशिया के दूसरे देश जापान और दक्षिण कोरिया संयुक्त रूप से दूसरे स्थान पर हैं, जहां के पासपोर्ट को बिना पूर्व वीज़ा के 190 गंतव्यों तक पहुंच मिली है. यूरोप भी पीछे नहीं है. जर्मनी, फ्रांस और स्पेन सहित सात यूरोपीय संघ के देश 189 गंतव्यों के साथ तीसरे स्थान पर हैं. इस बीच, न्यूज़ीलैंड एशिया के बाहर शीर्ष पांच में एकमात्र गैर-यूरोपीय देश है.

रिपोर्ट के मुताबिक पिछले एक दशक में, वैश्विक पासपोर्ट की ताकत में उल्लेखनीय बदलाव आए हैं और 80 से ज़्यादा देश रैंकिंग में कम से कम 10 पायदान ऊपर चढ़े हैं. UAE ने 34 पायदान की छलांग लगाकर आठवें स्थान पाया है, जहां उसे 186 देशों में वीज़ा-मुक्त पहुंच मिली है. चीन भी इस बढ़त के साथ 60वें स्थान पर पहुंच गया है, जो वीजा-मुक्त प्रवेश में बड़े विस्तार के कारण है, जहां पहले सिर्फ 20 देश थे, अब यह संख्या 75 हो गई है. हाल ही में इसमें सभी खाड़ी सहयोग परिषद (GCC) देश और दक्षिण अमेरिका के कई देश शामिल हुए हैं, जो वैश्विक यात्रियों को आकर्षित करने के चीन के बढ़ते प्रयासों को दर्शाता है.

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