होम देश vice president jagdeep dhankhar resigns prioritise health care and abide by medical advice उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ का इस्तीफा, मॉनसून सेशन के पहले दिन अचानक छोड़ा पद, India News in Hindi

vice president jagdeep dhankhar resigns prioritise health care and abide by medical advice उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ का इस्तीफा, मॉनसून सेशन के पहले दिन अचानक छोड़ा पद, India News in Hindi

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उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। राष्ट्रपति को लिखे गए पत्र में उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य संंबंधी जरूरतों को देखते हुए उन्हें पद छोड़ना पड़ रहा है।

Ankit Ojha लाइव हिन्दुस्तानMon, 21 July 2025 09:36 PM

उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने स्वास्थ्य कारणों का हवाला देते हुए अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य देखभाल को प्राथमिकता देने और चिकित्सीय सलाह का पालन करने के लिए, मैं भारत के उपराष्ट्रपति पद से तत्काल प्रभाव से इस्तीफा देता हूं। राष्ट्रपति को लिखे गए त्यागपत्र में उन्होंने महामहिम का आभार जताया है।

तीन साल पहले 6 अगस्त को उन्होंने उपराष्ट्रपति पद की जिम्मेदारी संभाली थी। उन्होंने देश के 14वें उपराष्ट्रपति के तौर पर शपथ ली थी। उपराष्ट्रपति बनने से पहले धनखड़ पश्चिम बंगाल के राज्यपाल थे। इसके अलावा वह 1989 से 1991 तक झुंझुनू लोकसभा क्षेत्र से सांसद रहे। वीपी सिंह और चंद्रशेखर की सरकार में वह केंद्र में मंत्री भी रह चुके हैं।

धनखड़ का जन्म राजस्थान के झुंझुनू जिले में 18 मई 1951 को हुआ था। उनकी शुरुआती शिक्षा गांव में ही हुई। बाद में वह पढ़ने के लिए चित्तौड़गढ़ सैनिक स्कूल चले गए। सेना में अफसर बनने के लिए एनडीए में उनका चयन हो गया था। इसके बाद भी उन्होंने आगे पढ़ाई करने का रास्ता चुना। राजस्थान विश्वविद्यालय से स्नातक करने केबाद उन्होंने कानून की पढ़ाई की। जयपुर में रहकर उन्होंने लंबे समय तक वकालत की।

मार्च महीने में जगदीप धनखड़ को एम्स में भर्ती करवाया गया था। जानकारी के मुताबिक हार्ट संबंधी दिक्कत के चलते उन्हें अस्पताल में भर्ती करवाना पड़ा था। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी अस्पताल जाकर उनसे मुलाकात की थी। गौर करने वाली बात है कि आज से ही संसद का मॉनसून सत्र शुरू हुआ है। ऐसे में मॉनसून सत्र में राज्यसभा के सभापति की कमी खलने वाली है। बता दें कि जगदीप धनखड़ का कार्यकाल पूरा होने में अभी दो साल बाकी थे।

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