पूर्वी राजस्थान में कुछ भागों में दो-तीन दिन में हल्के से मध्यम बारिश और दो से छह जुलाई के दौरान भारी बरसात हो सकती है। जयपुर, भरतपुर, कोटा और उदयपुर संभाग में 2-6 जुलाई को भारी बारिश व कहीं-कहीं काफी भारी बारिश होने की संभावना है।
भारत के पूर्वी और मध्य क्षेत्रों में मौसम विभाग ने अगले कुछ दिनों तक भारी बारिश की चेतावनी जारी की है। उत्तर-पश्चिम बंगाल की खाड़ी और पश्चिम बंगाल-बांग्लादेश तट पर बना निम्न दबाव का क्षेत्र बना हुआ है। इसके प्रभाव से झारखंड, पश्चिम बंगाल, सिक्किम, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, बिहार, ओडिशा और विदर्भ में 1 से 6 जुलाई तक भारी बारिश की संभावना है। साथ ही, अगले सात दिनों तक इन क्षेत्रों में हल्की से मध्यम बारिश, गरज-चमक और 30-40 किमी प्रति घंटे की रफ्तार वाली तेज हवाएं चलने की संभावना है। उत्तर-पश्चिम भारत में भी मौसम सक्रिय रहेगा। हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, पंजाब, हरियाणा, चंडीगढ़ और पूर्वी राजस्थान में 1 जुलाई से 6 जुलाई तक अलग-अलग स्थानों पर भारी बारिश की संभावना है। उत्तराखंड, पश्चिमी उत्तर प्रदेश, हिमाचल प्रदेश, पंजाब, हरियाणा और राजस्थान में कुछ जगहों पर 1 जुलाई और 5 जुलाई को अत्यधिक भारी बारिश हो सकती है।
दिल्ली और एनसीआर में सोमवार को हल्की बारिश होने से तापमान में गिरावट आई और लोगों को भीषण गर्मी से राहत मिली। आईएमडी के मुताबिक, दिल्ली में अगले कई दिनों तक आमतौर पर बादल छाए रहेंगे। गरज के साथ हल्की से मध्यम दर्जे की बारिश होने की संभावना है। आने वाले दिनों के पूर्वानुमान के अनुसार, 6 जुलाई तक तापमान 31-34 डिग्री सेल्सियस के बीच रहेगा। दिल्ली-एनसीआर के सभी जिलों में हल्की बारिश की संभावना है। इस अवधि के दौरान लू चलने की संभावना नहीं है। दिल्ली में हवाएं 15 से 20 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से पूर्वी दिशा में हवा बह रही है, जिससे ठंडक का असर और बढ़ गया है। आईएमडी अधिकारियों ने कहा कि सामान्य से कम तापमान और बार-बार बारिश होना मॉनसून के शुरुआती दौर का सामान्य लक्षण है। हाल के हफ्तों में लगातार गर्मी और प्रदूषण के स्तर से जूझ रहे लोगों को राहत मिलने की संभावना है।
राजस्थान में खूब बरस रहे बदरा
राजस्थान में समय से पहले आए मॉनसून की अच्छी बरसात का दौर जारी हैं। इस बार जून महीने में ही प्रदेश के 39 जिलों में बरसात हो चुकी है जिनमें 34 जिलों में असामान्य वर्षा दर्ज की गई जबकि केवल दो जिलों जैसलमेर व फलौदी में अब बारिश की कमी रही हैं। मौसम विभाग के अनुसार, पश्चिमी राजस्थान में 2-5 जुलाई के दौरान बारिश की गति बढ़ने की संभावना है। पूर्वी राजस्थान में कुछ भागों में दो-तीन दिन में हल्के से मध्यम बारिश और दो से छह जुलाई के दौरान भारी बरसात हो सकती है। जयपुर, भरतपुर, कोटा और उदयपुर संभाग में दो से छह जुलाई को कहीं-कहीं भारी बारिश व कहीं कहीं अतिभारी बारिश होने की संभावना है। 1 जुलाई को दौसा, करौली व सवाईमाधोपुर, 2 जुलाई को भरतपुर दौसा, करौली और 3 जुलाई को भीलवाड़ा, चित्तौड़गढ़, राजसमंद व पाली जिले में भारी बरसात होने की संभावना है।
हिमाचल में भारी बारिश और भूस्खलन से सड़कें अवरुद्ध
हिमाचल प्रदेश में सोमवार को भारी बारिश के कारण कुछ इमारतें ढह गईं। कई इलाकों में भूस्खलन हुआ और सड़कें अवरुद्ध हो गईं। भारी बारिश के कारण बादल फटने, बाढ़ और भूस्खलन के कारण मंडी में 129 और सिरमौर जिले में 92 सहित राज्य में 259 सड़कें बंद हो गईं। 614 ट्रांसफार्मर और 130 जलापूर्ति योजनाएं बाधित हो गईं। राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र के अनुसार, 20 जून को मानसून के आगमन के बाद से अब तक राज्य में वर्षाजनित घटनाओं में 23 लोगों की मौत हो चुकी है। हिमाचल में जून में औसत 135 मिलीमीटर बारिश हुई जबकि सामान्य रूप से 101 मिलीमीटर बारिश होती है। हिमाचल प्रदेश के कई इलाकों में बुधवार को भारी बारिश का ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है। 6 जुलाई तक पहाड़ी राज्य में बारिश का अनुमान जताया गया है। इस बीच, लगातार हो रही बारिश के कारण शिमला-चंडीगढ़ राष्ट्रीय राजमार्ग पर पांच जगहों पर भूस्खलन होने के कारण यातायात को एक ही लेन पर मोड़ा गया, जिससे जाम लग गया।