होम राजनीति ‘ये देश किसी के बाप का नहीं’… तेजस्वी यादव ने मुस्लिमों की सभा में किस पर कसा तीखा तंज?- Tejashwi Yadav says This country does not belong to anyones father muslim waqf bill patna rally rjd vote bank

‘ये देश किसी के बाप का नहीं’… तेजस्वी यादव ने मुस्लिमों की सभा में किस पर कसा तीखा तंज?- Tejashwi Yadav says This country does not belong to anyones father muslim waqf bill patna rally rjd vote bank

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पटना. बिहार की सियासत में आरजेडी नेता तेजस्वी यादव के एक बयान से हलचल मच गई है. तेजस्वी यादव ने पटना के गांधी मैदान में ‘वक्फ बचाओ, दस्तूर बचाओ’ सम्मेलन में गरजते हुए कहा, ‘ये देश किसी के बाप का नहीं है!’ तेजस्वी यादव के इस बयान पर एनडीए नेताओं ने भी करारा जवाब देते हुए ‘संस्कारहीन’ तक बोल दिया. तेजस्वी ने इस सभा में बीजेपी पर मुस्लिम समुदाय के अधिकार छीनने की साजिश करार दिया. गांधी मैदान में इमारत-ए-शरिया द्वारा आयोजित इस सम्मेलन में तेजस्वी ने वक्फ संशोधन बिल को संविधान के खिलाफ और धार्मिक ध्रुवीकरण की साजिश बताया. उनका ‘ये देश किसी के बाप का नहीं’ बयान बीजेपी पर तीखा प्रहार था.

तेजस्वी ने कहा, ‘इस देश को बनाने में हिंदू, मुस्लिम, सिख, ईसाई सबने कुर्बानियां दीं. यह हम सबका हिंदुस्तान है.’ उन्होंने बिल के प्रावधानों में गैर-मुस्लिमों को वक्फ बोर्ड में शामिल करना और जिलाधिकारियों को वक्फ संपत्तियों के सर्वेक्षण की अतिरिक्त शक्तियां देना, को संविधान के अनुच्छेद 26 का उल्लंघन बताया जो धार्मिक स्वतंत्रता की गारंटी देता है.

बिहार चुनाव में वक्फ बिल का सियासी खेल

तेजस्वी ने चुनाव आयोग के नए नोटिफिकेशन का जिक्र करते हुए दावा किया कि 8 लाख वोटरों की सूची दोबारा बनाना वोटिंग अधिकार छीनने की साजिश है. उन्होंने इसे बीजेपी की “बांटने वाली राजनीति” का हिस्सा बताया और मुस्लिम, दलित, और पिछड़े वर्गों को एकजुट करने की अपील की.

वक्फ पर महासंग्राम की आहट?

बिहार में 2025 के विधानसभा चुनाव नजदीक हैं और तेजस्वी का यह बयान उनकी रणनीति का मास्टरस्ट्रोक माना जा रहा है. बिहार की 17% आबादी मुस्लिम है, जिसमें 73% पसमंदा मुस्लिम हैं और आरजेडी का परंपरागत ‘MY’ (मुस्लिम-यादव) समीकरण उसकी ताकत रहा है. वक्फ बिल के खिलाफ तेजस्वी का आक्रामक रुख इस वोटबैंक को मजबूत करने की कोशिश है. लेकिन वह यहीं नहीं रुके. तेजस्वी वैश्य और अति पिछड़ा समुदायों को भी साध रहे हैं, जो बीजेपी का कोर वोटबैंक माने जाते हैं.

हाल ही में उन्होंने वैश्य प्रतिनिधि सम्मेलन को संबोधित किया, जिससे उनकी रणनीति का दायरा साफ दिखता है.
तेजस्वी ने जेडीयू के संरक्षक और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर भी तंज कसा, उन्हें ‘बेहोश’ बताते हुए वक्फ बिल पर उनकी चुप्पी पर सवाल उठाए. उन्होंने कहा, ‘नीतीश चुप क्यों हैं? कौन उन्हें चुप करा रहा है?’ यह नीतीश की धर्मनिरपेक्ष छवि पर हमला है, जो मुस्लिम वोटों के लिए अहम है. तेजस्वी ने जेडीयू के बिल समर्थन को उजागर कर महागठबंधन को धर्मनिरपेक्ष विकल्प के रूप में पेश किया.

नया युद्धक्षेत्र बन सकता तेजस्वी का यह बयान?

वक्फ बिल बिहार की सियासत में नया युद्धक्षेत्र बन सकता है. बीजेपी और जेडीयू का दावा है कि यह बिल पारदर्शिता और पसमंदा मुस्लिमों के हित में है. लेकिन विपक्ष इसे संवैधानिक अधिकारों पर हमला बता रहा है. सुप्रीम कोर्ट में बिल की वैधता पर सुनवाई चल रही है, और इसका फैसला बिहार के सियासी माहौल को और गर्मा सकता है. सोशल मीडिया पर तेजस्वी के बयान को “नफरती ताकतों” के खिलाफ चुनौती के रूप में प्रचारित किया जा रहा है, जिससे मुस्लिम और अन्य वंचित समुदायों में उनकी अपील बढ़ रही है.

तेजस्वी का यह बयान ध्रुवीकरण को और गहरा सकता है. बीजेपी ने तेजस्वी के बयान की निंदा की तो जेडीयू ने इसे ‘संस्कारहीन’ करार दिया. कुछ आलोचकों का मानना है कि तेजस्वी का यह बयान जानबूझकर दिया गया ताकि मुस्लिम वोटों को एकजुट किया जाए, लेकिन यह गैर-मुस्लिम वोटरों को उनसे दूर भी कर सकता है.

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