नए CPI पैमाना (2026 में आने वाला) ऑनलाइन खरीदारी की असली कीमतों को भी मापेगा, खासकर 12 बड़े शहरों में। बाजारों की संख्या बढ़ेगी, आधार साल बदलेगा और खर्च के नए पैटर्न (जैसे OTT, ट्रैवल) शामिल होंगे। सरकार महंगाई मापने के तरीके को आधुनिक बना रही है। 2026 में जब खुदरा महंगाई दर (CPI) का नया पैमाना (सीरीज) आएगा, तो उसमें एक बड़ा बदलाव होगा। अब ऑनलाइन शॉपिंग की कीमतों पर भी सरकार की नजर रहेगी। इसके लिए सरकार ने देश के 12 बड़े शहरों को चुना है, जहां की आबादी हर एक की 25 लाख से ज्यादा है।
नए CPI की खास बातें: पुराने पैमाने में सिर्फ 1,181 ग्रामीण और 1,114 शहरी बाजार शामिल थे। नए पैमाने में यह संख्या बढ़कर कुल 2,900 बाजार हो जाएगी। कीमतों की तुलना का आधार साल 2012 से बदलकर 2024 कर दिया जाएगा। सूचकांक (इंडेक्स) में हर चीज़ का ‘वेटेज’ (महत्व) खर्च सर्वेक्षण 2022-23 (HCES) के आधार पर तय होगा।
पहले, खपत के बदलते तरीकों को शामिल करने के लिए, सूचकांक में चीज़ों के ‘वेटेज’ को फिर से बांटा जाता था (रिडिस्ट्रीब्यूशन ऑफ वेट्स)। अब नए सीरीज में ऐसा नहीं होगा। “नए सीरीज में वेटेज का फिर से बंटवारा नहीं होगा।”